मध्यप्रदेश के भोपाल में अग्नीवीर में भर्ती में भाग लेने वाले दो सगे भाईयों की दौड़ के बाद तबियत बिगड़ी। इलाजरत अवस्था में कुछ दिनों के अंतराल में दोनों ने ही दम तोड़ दिया। जवान बेटों को गंवाकर किसान पिता प्रयागनाथ की अवस्था पागलों जैसी हो गई है।
बैतूल जिला के दियामहू गांव के निवासी प्रयागनाथ यादव के तीन संतानों में बडा बेटा रुपेन्द्र यादव और छोटा अंकित यादव को सेना में भर्ती होने का जनून था लेकिन उनका सपना अधूरा रह गया। बेटी मोनिका यादव पढ़ाई करती है। सेना में भर्ती होने के लिए दोनों भाई अर्सा से तैयारी में थें, अंकित वकायदा एनसीसी ट्रैनिंग लिया था। 29 अक्टुबर को भर्ती की दौड़ प्रतियोगिता में रुपेन्द्र भाग लिया, दौड़ समाप्त करने के बाद उसकी तबियत बिगड़ी और बेहोश हो गया। घटना के पांच दिन बाद निजी अस्पताल में इलाजरत अवस्था में उसने दमतोड़ दिया। चार नवंबर को उसकी मौत हुई। उसके ठीक एक दिन पहले छोटा भाई अंकित भर्ती की दौड़ प्रतियोगिता में भाग लिया। अपने बड़े भाई की तरह दौड़ के बाद उसकी भी तबियत बिगने से बेहोश होकर गिर पड़ा। निजी अस्पताल में चिकित्साधीन अवस्था में घटना के चार दिन बाद उसकी भी मौत हो गई।
डाक्टरों के अनुसार दोनों भाईयों की मौत लीवर में सूजन, फेफड़ा में पानी होने जनीत समस्या से हुई है। दो अलग अस्पतालों में समान लक्षण से हुई मौत से इलाज करने वाले डाक्टर भी अचरज में है। दोनों का पोस्टमार्टम नहीं हुआ है। डाक्टरों का अनुमान है कि स्टेमिना बूस्टर का ओवरडोज मौत का कारण हो सकता है। मौत के बाद उनके शरीर से कुछ सैंपल लिया गया है। जीसके जांच रिपोर्ट के बाद मौत का कारण स्पष्ट हो सकेगा।